Thursday, February 5, 2009

यह जीवन जीने की जद्दोजहद है !

जीवन खुशियों का खजाना है, उमंग है, गुदगुदाना और मुस्कुराना है,
जीवन है इक तड़प, जीवन है एक प्यास, दर्द है कभी तो कभी है कोई आस ,
जीवन बच्चों सा सरल है कभी, कभी जटिल पहेली सा ताना-बाना है !


रिश्तों की माला है जीवन, अधूरी सी तलाश है, हर पल एक प्यास है ,
कुछ बातें हैं अनकही, कुछ एहसास हैं अनछुए,कुछ जाना कुछ पहचाना,
एक अनवरत सफर है जीवन, कभी आना है कभी जाना है !

2 comments:

  1. कुछ बातें हैं अनकही, कुछ एहसास हैं अनछुए,कुछ जाना कुछ पहचाना,
    its wonderful...........
    Shivram ji

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  2. पहले फूल का आनंद !


    कितना अच्छा लगता है जब पहली बार फूल खिलते हैं अपनी लगाई बगिया में ,
    पहला फूल जब कोंपल बनकर डाल पर से झांकता है तो लगता है कि कोई नन्हा सा जीवन आपको धन्यवाद दे रहा हो !
    उसकी इस मासूम सी अदा पर दिल खुशी से भर जाता है
    और दिल को इंतजार होता है उसके आँखें खोलने का !



    आपका प्यार और सहारा पाकर वो कोंपल एक दिन कली बनेगा,
    वो कली आप जैसे सूरज की रोशनी और धूप पाकर फूल बनेगी ,
    फिर फूल खिलेगा और महकेगा सारी दुनिया को खुशबू में डुबाने के लिए !
    फिर फूल खिलेगा और महकेगा आपका शुक्रिया अदा करने के लिए ,
    हर उस पल के लिए जब आपने उसे संभाला , उसे सींचा अपने निर्मल जल से,
    पाला अपनी छाया के साये में , संजोया उसे अपने विचारों से !

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